वेलकम 2 उदयपुर.
सावन में प्रत्येक सोमवार को मेवाड़ के आराध्य भगवान एकलिंगनाथजी के दर्शन करने बड़ी संख्या में भक्त पहुंचते हैं, लेकिन इस बार कोरोना वायरस के प्रकोप के कारण पाबंदियां लागू हैं। इसके चलते प्रबंध मंडल की ओर से भगवान एकलिंगनाथ के प्राचीन चित्रों के दर्शन नित्य प्रणालिका के अनुसार इटर्नल मेवाड़ के पेज व विभिन्न मीडिया माध्यमों पर उपलब्ध कराने की व्यवस्था की गई है।
कोरोना वायरस महामारी के कारण राजस्थान सरकार के निर्देशों के अनुसार मंदिर नहीं खोले गए हैं। भगवान एकलिंगनाथ के भक्तों के लिए महाराणा मेवाड़ चेरिटेबल फाउण्डेशन, उदयपुर की ओर से नित्य प्रणालिका में प्रभु एकलिंगनाथ के द्वितीय सुखिया सोमवार को धराये जाने वाले पारंपरिक शृंगार का प्राचीन चित्र भक्तों के लिए विभिन्न मीडिया माध्यमों एवं इटर्नल मेवाड़ के पेज पर प्रस्तुत है।
द्वितीय सोमवार को प्रभु एकलिंगनाथ को धराई जाने वाले केसरिया लेहरिये का चित्र जारी किया गया है। लेहरिया सावन में पहना जाता है, जो पानी की लहरों का आभास दिलाता है। मेवाड़ में विभिन्न प्रकार के लेहरियों को पारंपरिक तरीके से रंगाई कर तैयार किया जाता है। लेहरिये का मेवाड़ में विशेष महत्व है।